क्या आप चुपचुप रहने लगी हैं? लोग आप से शिकायत करने लगे हैं कि आप ज्यादा बात नहीं करतीं और खुद में ही खोई रहती हैं? आप का मन बेचैन रहता है और आप अकेलापन महसूस करती हैं? आप को लगता है कि अब आप खुश नहीं रह सकतीं? माना कि आज के समय में खुद के लिए समय निकालना, डिप्रैशन और तनाव से दूर रहना थोड़ा मुश्किल है, लेकिन नामुमकिन बिलकुल नहीं. इसलिए उदास होना और अकेले में सोचना छोड़ दीजिए. साइकोलौजिस्ट डा. अनामिका पापड़ीवाल के इन टिप्स पर गौर करने से यकीनन आप को फायदा मिलेगा:
1. खुद को स्वीकार करें
आप जो भी हैं, जैसी भी हैं बहुत अच्छी हैं. कोई भी अपनेआप में पूर्ण नहीं होता. इसलिए खुद को हमेशा सर्वश्रेष्ठ समझने की कोशिश छोड़ दें.
2. सुख और दुख जीवन के दो पहलू
कोई भी व्यक्ति ऐसा नहीं है, जिस के जीवन में दुख नहीं आता. इसलिए खुद को दुनिया की सब से दुखी महिला न समझें. सुख और दुख ही जीवन जीने के तरीकों को बताते हैं. जिस ने सुख के समय में खुद पर नियंत्रण रखा और दुख के समय संयमित रहना समझिए खुश रहने की कुंजी उसी के पास है.
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3. खुशी आसपास ही है
आप जब भी परेशान या दुखी हों तो थोड़ा मुसकराएं. खुशी हमारे आसपास ही होती है. बस उसे स्वीकार करने की जरूरत है. जिस तरह दिन के बाद रात होती है और रात में अंधेरा होने की वजह से हम सो जाते हैं ताकि अंधेरे की वजह से कोई काम गलत न हो, ठीक उसी तरह जब कभी आप परेशान या किसी मुसीबत में हों तो यह मान कर चलें कि अभी रात है. आप को किसी भी चीज को इधरउधर नहीं करना है, बल्कि शांत रहना है, साथ ही यह यकीन रखना है कि जल्द ही सुबह होगी और आप फिर से अपनी नियमित दिनचर्या शुरू करेंगी. रात कभी हमेशा के लिए नहीं रहती, बल्कि वह तो सुबह का संदेश ले कर आती है.